Single Use Plastic Ban: देशभर में आज से सिंगल-यूज प्लास्टिक पर बैन लग रहा है। इसके तहत प्लास्टिक से बनी कई चीजें मिलनी बंद हो जाएंगी। इसमें रोजमर्रा की जिंदगी में इस्तेमाल होने वाली कई चीजें भी शामिल हैं, जो अब नहीं दिखेंगी।केंद्रीय पर्यावरण मंत्रालय ने उन सामानों की लिस्ट जारी की है, जिनपर रोक लग रही है।
सिंगल यूज प्लास्टिक यानी प्लास्टिक से बनी ऐसी चीजें, जिसका हम सिर्फ एक ही बार इस्तेमाल कर सकते हैं या फिर इस्तेमाल कर फेंक देते हैं और जिससे पर्यावरण को नुकसान पहुंचता है।
सिंगल यूज प्लास्टिक की 19 चीजों पर लगा बैन:
प्लास्टिक कैरी बैग, पॉलीथीन (75 माइक्रोन से कम मोटाई वाले)
प्लास्टिक स्टिक वाले ईयर बड्स
गुब्बारों के लिए प्लास्टिक स्टिक
प्लास्टिक के झंडे
कैंडी स्टिक, आइसक्रीम स्टिक
थर्माकोल (पॉलिस्ट्रीन)
प्लास्टिक की प्लेट
प्लास्टिक के कप
प्लास्टिक के गिलास
कांटे
चम्मच
चाकू
स्ट्रॉ
ट्रे
मिठाई के डिब्बों को रैप या पैक करने वाली फिल्म
इन्विटेशन कार्ड
सिगरेट के पैकेट
100 माइक्रोन से कम के प्लास्टिक या पीवीसी बैनर
स्टिरर (चीनी आदि मिलाने वाली चीज)
मंत्रालय की तरफ से साफ बताया गया है कि सिंगल यूज प्लास्टिक अगर कोई इस्तेमाल करता पाया गया तो उसको दंड मिलेगा। इसमें जेल और जुर्माना दोनों शामिल हैं। बताया गया है कि सिंगल यूज प्लास्टिक के इस्तेमाल पर पर्यावरण संरक्षण अधिनियम (ईपीए) के सेक्शन 15 के तहत एक्शन होगा।
500 से दो हजार रुपये का जुर्माना होगा
एक जुलाई से आम लोगों पर प्रतिबंधित उत्पादों का इस्तेमाल करने पर 500 से दो हजार रुपये का जुर्माना होगा। वहीं, औद्योगिक स्तर पर इसका उत्पाद, आयात, भंडारण और बिक्री करने वालों पर पर्यावरण संरक्षण अधिनियम 1986 की धारा 15 के तहत दंड का प्रावधान होगा। ऐसे लोगों पर 20 हजार रुपये से लेकर एक लाख रुपये तक का जुर्माना लगाया जा सकता है या फिर पांच साल की जेल या दोनों सजा भी दी जा सकती है। उत्पादों को सीज करना, पर्यावरण क्षति को लेकर जुर्माना लगाना, इनके उत्पादन से जुड़े उद्योगों को बंद करने जैसी कार्रवाई भी शामिल है।
बिहार में भी आज से सिंगल यूज प्लास्टिक पर प्रतिबंध पकड़े जाने पर देना होगा भारी जुर्माना
बिहार राज्य प्रदूषण नियंत्रण पर्षद के मुताबिक, केंद्र और राज्य सरकार के निर्देश पर सिंगल यूज प्लास्टिक पर प्रदेश में आज से प्रतिबंध लागू कर दिया गया है। इसके लिए 6 महीने से जागरूकता अभियान भी चलाया जा रहा था। अब समूचे प्रदेश में सिंगल यूज प्लास्टिक के सीधे उपयोग के साथ-साथ पैकेजिंग में भी उसका उपयोग प्रतिबंधित कर दिया गया है। पकड़े जाने पर आमलोगों को 500 से लेकर 2000 और औद्योगिक स्तर पर इस्तेमाल पर 20 हजार से लेकर 1 लाख रुपए तक जुर्माना या फिर 5 साल की जेल या दोनों सजाएं एक साथ दी जा सकती हैं।
हर व्यक्ति हर साल 180 ग्राम सिंगल यूज प्लास्टिक कचरा पैदा कर रहा
भारत की बात करें तो केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड का एक सर्वे बताता है कि देश में हर दिन 26 हजार टन प्लास्टिक कचरा निकलता है, जिसमें से सिर्फ 60% को ही इकट्ठा किया जाता है. बाकी कचरा नदी-नालों में मिल जाता है या पड़ा रहता है. केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के मुताबिक, भारत में हर साल 2.4 लाख टन सिंगल यूज प्लास्टिक पैदा होता है. इस हिसाब से हर व्यक्ति हर साल 180 ग्राम सिंगल यूज प्लास्टिक कचरा पैदा करता है।